FASTag Alert: टोल पर बढ़ने जा रहा बोझ — 15 नवंबर से नए चार्ज लागू

FASTag Alert – टोल टैक्स देने वाले लोगों के लिए एक बड़ा अपडेट सामने आया है। सरकार ने घोषणा की है कि 15 नवंबर से FASTag चार्ज में बदलाव किए जाएंगे, जिससे हर वाहन चालक की जेब पर असर पड़ेगा। अब तक FASTag का उपयोग करके टोल पर तेज़ और कैशलेस भुगतान किया जा रहा था, लेकिन नए नियम लागू होने के बाद कुछ अतिरिक्त शुल्क और सर्विस चार्ज जोड़े जा सकते हैं। यह बदलाव नेशनल हाईवे अथॉरिटी ऑफ इंडिया (NHAI) की नई नीति के तहत होगा, जिसका उद्देश्य डिजिटल ट्रांजेक्शन को और बेहतर बनाना है। हालांकि, नए चार्ज लागू होने से पहले वाहन चालकों को अपने FASTag अकाउंट को अपडेट रखने और वॉलेट बैलेंस सुनिश्चित करने की सलाह दी गई है। आने वाले समय में यह बदलाव ऑटोमेटेड टोलिंग सिस्टम को और पारदर्शी बना सकता है, लेकिन फिलहाल आम जनता के लिए यह अतिरिक्त खर्च की चिंता का कारण बना हुआ है।

FASTag Alert
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FASTag चार्ज में बढ़ोतरी से बढ़ेगा बोझ

15 नवंबर से लागू होने वाले नए FASTag नियमों के तहत टोल पर हर ट्रांजेक्शन पर सर्विस चार्ज बढ़ाने की तैयारी है। अभी तक यूज़र्स सिर्फ टोल की निर्धारित राशि भरते थे, लेकिन अब बैंक और सर्विस प्रोवाइडर अतिरिक्त शुल्क वसूल सकते हैं। यह शुल्क प्रति ट्रांजेक्शन ₹2 से ₹5 तक हो सकता है। NHAI का कहना है कि यह बढ़ोतरी मेंटेनेंस और सिस्टम अपग्रेडेशन के लिए की जा रही है। हालांकि, आम जनता के बीच इसे लेकर नाराज़गी देखी जा रही है क्योंकि पहले से ही पेट्रोल-डीजल की कीमतों में बढ़ोतरी से खर्च बढ़ चुका है। इसलिए FASTag चार्ज में यह बदलाव वाहन चालकों के लिए एक और बोझ साबित हो सकता है।

15 नवंबर से क्या बदल जाएगा FASTag सिस्टम में

नए नियमों के लागू होने के बाद FASTag यूज़र्स को हर टोल ट्रांजेक्शन पर अपडेटेड चार्ज दिखाई देंगे। कुछ निजी बैंकों ने पहले ही अपने प्लेटफॉर्म पर सर्विस फीस बढ़ाने की जानकारी दी है। इसके साथ ही, KYC न कराने वाले यूज़र्स के FASTag अस्थायी रूप से ब्लॉक भी किए जा सकते हैं। नया सिस्टम यह भी सुनिश्चित करेगा कि हर वाहन का FASTag ID वैलिड और अपडेटेड हो। NHAI ने सुझाव दिया है कि सभी वाहन मालिक 15 नवंबर से पहले अपने FASTag वॉलेट की स्थिति जांच लें ताकि यात्रा के दौरान किसी भी तरह की परेशानी से बचा जा सके।

FASTag यूज़र्स के लिए जरूरी अलर्ट

जो वाहन मालिक नियमित रूप से हाइवे पर यात्रा करते हैं, उनके लिए यह नया बदलाव काफी महत्वपूर्ण है। सरकार ने साफ कर दिया है कि बिना FASTag वाहनों को दो गुना टोल राशि देनी होगी। ऐसे में, जिन यूज़र्स का FASTag बैलेंस कम है या उनका टैग डिएक्टिवेटेड है, उन्हें जल्द से जल्द उसे रिचार्ज और एक्टिवेट करना चाहिए। इसके अलावा, पुराने टैग को बदलकर नए बैंक-अप्रूव्ड टैग लेने की भी सलाह दी गई है ताकि ट्रांजेक्शन में कोई अड़चन न आए। यह सभी कदम आने वाले समय में टोल प्लाज़ा पर ट्रैफिक को कम करने में मदद करेंगे।

सरकार का मकसद और जनता की प्रतिक्रिया

सरकार का दावा है कि FASTag चार्ज में यह बदलाव डिजिटल भुगतान प्रणाली को और मज़बूत बनाने के लिए है। NHAI के अनुसार, यह परिवर्तन ऑटोमेटेड टोल कलेक्शन को अपग्रेड करने और डेटा सिक्योरिटी बढ़ाने में सहायक होगा। लेकिन आम जनता का कहना है कि इस समय जब महंगाई पहले से ऊंचाई पर है, ऐसे अतिरिक्त चार्ज लागू करना गलत कदम है। सोशल मीडिया पर भी यूज़र्स इस फैसले को लेकर नाराज़गी जता रहे हैं और इसे वापस लेने की मांग कर रहे हैं। हालांकि, सरकार का मानना है कि ये बदलाव दीर्घकाल में ड्राइवरों और यात्रियों दोनों के लिए फायदेमंद साबित होंगे।

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